भिवंडी में पुलिस ने छापेमारी कर 7 लाख का नकली जीरा किया जब्त, दो हुए गिरफ्तार

Spread the love

भिवंडी में पुलिस ने छापेमारी कर 7 लाख का नकली जीरा किया जब्त, दो हुए गिरफ्तार

पालघर में बनाया जाता था नकली जीरा ; पुलिस ने किया कंपनी सील

भिवंडी – शांतिनगर पुलिस ने छापेमारी कर नकली जीरा बनाने वाले एक गिरोह का भंडाफोड़ करते हुए 3399 किलो नकली जीरा के साथ दो लोगो को गिरफ्तार किया है। जिसकी कीमत 7 लाख रुपया बताई गई है। यह गैंग गुजरात से रॉ मटेरियल लाकर पालघर में उक्त नकली जीरा बना कर इस जीरे को होटलों व दुकानों में सप्लाई किया जाता था।

भिवंडी के शांतिनगर पुलिस स्टेशन में आयोजित पत्रकार परिषद में भिवंडी पुलिस उपायुक्त नवनाथ ढवले ने पत्रकारों को बताया कि शांतिनगर पुलिस स्टेशन के पुलिस उप निरीक्षक एस.एम.घुगे को गुप्त सूचना मिली थी कि शांतिनगर परिसर में दो लोग नकली जीरा बिक्री करने के लिए आने वाले है। उक्त सूचना के बाद पुलिस उपायुक्त नवनाथ ढवले, सहायक पुलिस आयुक्त किशोर खैरनार व शांतिनगर पुलिस स्टेशन के वरिष्ठ पुलिस निरीक्षक शंकर इंदलकर के मार्गदर्शन में पुलिस उप निरीक्षक सुरेश घुगे, पुलिस नाईक किरण जाधव, श्रीकांत पाटिल, पुलिस सिपाही नरसिंग क्षीर सागर, रवि पाटिल, तौफीक शिकलगार की टीम तैयार कर अन्न सुरक्षा अधिकारी इद्रजीत नारायण चिलवते को इसकी जानकारी देकर स्थानीय फातमानगर के 60 फिट रोड पर जाल बिछाया। जिसके बाद शक के आधार पर पुलिस ने एक बोलेरो पिकप से जांच के दौरान 3399 किलोग्राम नकली जीरा बरामद किया है। साथ ही नकली जीरा बिक्री करने वाले शादाब इस्लाम खान 33 व चेतन रमेश भाई गांधी 34 निवासी पालघर को गिरफ्तार कर लिया और उसके साथ जी टेंपो से जरा लाया गया था उसको भी जप्त कर लिया है। पुलिस के अनुसार नकली जीरा और टेंपो को मिलाकर उसकी अनुमानित कीमत 11 लाख 19 हजार 600 रुपया है। पुलिस ने दोनों आरोपियों को भिवंडी न्यायालय में हाजिर किया है। जिसे न्यायालय ने दो दिन के लिए पुलिस हिरासत में भेज दिया है।डीसीपी नवनाथ ढवले ने बताया कि बरामद नकली जीरा पालघर इलाके में तैयार किया जाता था।जिसे असली जीरा में मिक्स कर पैकेट में पैक कर इसे ठाणे, कल्याण व भिवंडी इलाके के दुकानों व होटलों में जीरा राइस बनाने के लिए सप्लाई किया जाता था। उन्होंने बताया कि शांतिनगर पुलिस ने जीरा बनाने वाली कंपनी को सील कर दिया गया है। उन्होंने बताया कि उक्त कंपनी में गुजरात से सौंफ व केमिकल लाकर उसके माध्यम से नकली जीरा बनाया जा रहा था। बाजार में असली जरा काफी महंगे भाव में बिकता है जिसमें नकली जरा मिश्रित कर लोग कालाबाजारी के माध्यम से भारी मुनाफा कमा रहे थे।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

error: Content is protected !!
Right Menu Icon