केंद्र और राज्य दोनों ही सरकारें महिलाओं के प्रति असंवेदनशील हैं

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केंद्र और राज्य दोनों ही सरकारें महिलाओं के प्रति असंवेदनशील हैं

सप्ताह भर में मुंबई में हुईं दो रेप की घटनाओं को लेकर राकांपा कार्यकारी अध्यक्ष सुप्रिया सुले ने साधा सरकार पर निशाना

योगेश पाण्डेय – संवाददाता 

मुंबई – पिछले पंद्रह दिनों में मुंबई में महिलाओं के साथ रेप की दो घटनाएं हो चुकी हैं। मरीन ड्राइव स्थित हॉस्टल में रहने वाली एक छात्रा की रेप के बाद बेरहमी से हत्या कर दी गई। साथ ही दो दिन पहले एक नाबालिग लड़की से मस्जिद और सीएसएमटी स्टेशन के बीच छेड़छाड़ का मामला सामने आया था। इन दोनों घटनाओं को लेकर राकांपा की कार्यकारी अध्यक्ष सुप्रिया सुले ने राज्य सरकार पर जोरदार हमला बोला है। इस दौरान उन्होंने महिला पहलवानों का मुद्दा भी उठाया और केंद्र सरकार को आड़े हाथों लिया। सुप्रिया सुले शुक्रवार को मीडिया से बात कर रही थी।

सुप्रिया सुले ने कहा कि महाराष्ट्र सरकार और केंद्र सरकार महिलाओं के प्रति बहुत असंवेदनशील हैं। अजित पवार ने भी महिला सुरक्षा को लेकर विस्तार से बात की। पहला मुद्दा तो यह है कि केंद्र ने दिल्ली में ओलंपिक विजेताओं के मामले को किस तरह से हैंडल किया। मरीन ड्राइव स्थित महिला छात्रावास की पीड़िता के माता-पिता मिले और उन्होंने कुछ मांगें भी की हैं। पुलिस ने उसका फॉलोअप लिया है। इस संबंध में महाराष्ट्र सरकार से भी अनुरोध करेंगे। महिलाओं के खिलाफ घटनाएं हो रही हैं और लगातार बढ़ भी रही हैं। मैं आंकड़ों से देख सकती हूं कि इसके लिए महाराष्ट्र का गृह विभाग पूर्ण रूप से जिम्मेदार है।

राज्य में कुल 18 मंत्री हैं, एक मंत्री के पास 10 से 15 विभाग हैं, जिला परिषद का चुनाव नहीं हुआ है, महानगर पालिका में कोई पार्षद नहीं है। तो महाराष्ट्र कौन चला रहा है? इस दुनिया में कोई सुपरमैन नहीं है। एक कमिश्नर पूरे शहर को चला रहा है। एक अकेला व्यक्ति एक नगरसेवक के रूप में इतना काम कर रहा है। जिला परिषद की जिम्मेदारी एक व्यक्ति पर होती है। प्रबंधन यहाँ असंभव है। सत्ता को लगातार एक जगह केंद्रीकृत करने का मतलब है कि राज्य लोकतंत्र से परे जा रहा है, सुप्रिया सुले ने आलोचना करते हुए कहा।

इस बीच कुछ दिन पहले शिंदे गुट के कथित शुभचिंतकों ने लगातार दो दिनों तक मुख्यमंत्री की लोकप्रियता को वाले विज्ञापन जारी किए। इस विज्ञापन पर मचे राजनितिक बवाल के बाद शंभू राजे देसाई ने कहा कि ये विज्ञापन हमारे किसी शुभचिंतक ने दिए थे। सुप्रिया सुले ने इसकी आलोचना करते हुए कहा कि हम इस बात की जांच कर रहे हैं कि इस विज्ञापन को देने वाला शुभचिंतक कौन हैं। मैंने अजित पवार से भी इसका पता लगाने को कहा है। अजित पवार अभी जलगाँव गए हैं। मैं कल पुणे में थी, वहां भी कोई शुभचिंतक नहीं मिला। बहुत दिनों के बाद आज मुंबई आना हुआ हूँ। हमारी पार्टी को भी ऐसे शुभचिंतको की शुभकामनाए मिलनी चाहिए। यदि मीडिया को फुल पेज विज्ञापन मिले तो आप और हम दोनों के लिए बेहतर हैं। ऐसे कोई शुभचिंतक हैं तो उन्हें मेरा जयंत पाटिल या अजीत पवार का नंबर दे दीजिये, सुप्रिया सुले ने सरकार पर तंज कसते हुए कहा।

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