हम मराठा आरक्षण के लिए अपनी जान तक देने को तैयार हैं। मैं बिना आरक्षण के वापस नहीं जाऊंगा, हम मुंबई में अपनी ताकत दिखाएंगे – मनोज जरांगे पाटिल
मराठा आरक्षण की मांग को लेकर मनोज जरांगे पाटिल का काफिला पुणे पंहुचा। 26 जनवरी को पहुंचेंगे मुंबई
योगेश पाण्डेय – संवाददाता
मुंबई – मराठा आरक्षण की मांग को लेकर मराठा नेता मनोज जरांगे पाटिल का मार्च बुधवार को पुणे पहुंचा। उन्होंने कहा कि वे मराठा आरक्षण के लिए अपनी जान तक देने को तैयार हैं। मैं बिना आरक्षण के वापस नहीं जाऊंगा। हम मुंबई में अपनी ताकत दिखाएंगे, यहां 2 से 2.5 करोड़ लोग जुटेंगे।
जारंगे के मुताबिक अगर सरकार आंदोलन को नजर अंदाज करती रही तो वे मुंबई के आजाद मैदान में भूख हड़ताल करेंगे। जरांगे की मांग राज्य के मराठाओं को कुनबी समाज में शामिल करने की है। इससे पूरी कम्युनिटी OBC (अन्य पिछड़ा वर्ग) की श्रेणी में आ जाएगी और आरक्षण का लाभ ले सकेगी।
जरांगे ने अपने हजारों समर्थकों के साथ 20 जनवरी को अंतरावाली सरावटी से मार्च शुरू किया था। 26 जनवरी यानी गणतंत्र दिवस के दिन यह मार्च मुंबई के आजाद मैदान पहुंचेगा। वे यहां हजारों समर्थकों के साथ भूख हड़ताल कर सकते हैं,इस दौरान वे 7 जगहों पर रूकेंगे।
उधर मराठा आंदोलन को लेकर सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई होनी है। मई 2021 को सुप्रीम कोर्ट के 5 जजों की बेंच ने मराठा आरक्षण खत्म कर दिया था। राज्य सरकार ने क्यूरेटिव पिटीशन दायर कर फैसले पर विचार करने की मांग की है।
23 दिसंबर 2023 को CJI डीवाई चंद्रचूड़, जस्टिस संजय किशन कौल, जस्टिस संजीव खन्ना और जस्टिस बीआर गवई की बेंच ने मामले को 24 जनवरी के लिए लिस्ट कर दिया था। 25 दिसंबर को जस्टिस संजय रिटायर हो गए। अब CJI उनकी जगह किसी अन्य जस्टिस को बेंच में शामिल कर सकते हैं।
राज्य पिछड़ा आयोग ने 23 जनवरी से आरक्षण के लिए सर्वे शुरू किया है। इसमें यह पता लगाया जाएगा कि मराठा कम्युनिटी के लोग सामाजिक, आर्थिक और शैक्षणिक रूप से कितने पिछड़े हैं। यह सर्वे 31 जनवरी तक चलेगा। राज्य के करीब 4250 कर्मचारी इसमें लगे हैं।