400 सीटें तो क्या 200 भी नहीं जीत पायेगी भाजपा। इस बार प्रभु श्री राम भी भाजपा का साथ नहीं देंगे – संजय राऊत
भाजपा पर भड़के संजय राउत बोले, कहा हेमंत सोरेन और अरविंद केजरीवाल पर छापेमारी कर नौटंकी कर रही है भाजपा
योगेश पाण्डेय – संवाददाता
मुंबई – बिहार में मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के ‘I. N. D. I. A.’ गठबंधन छोड़ने के बाद से सियासी घमासान जारी है। शिवसेना (युबीटी) सांसद संजय राऊत लगातार भाजपा और नीतीश कुमार पर निशाना साध रहे हैं। एक दिन पहले दोनों को पलटूराम बताने वाले संजय राऊत मंगलवार को आक्रामक नजर आए। अब उन्होंने कहा कि ईडी की छापेमारी और नीतीश कुमार को तोड़ो जैसा काम करके भाजपा नौटंकी कर रही है। उन्होंने कहा कि भाजपा की औकात 400 सीटें जीतने की क्या, 200 सीटें जीतने की भी नहीं है, इसलिए वह इस तरह नौटंकी कर रही है। संजय राऊत ने कहा कि भाजपा को अब भगवान श्री राम भी नहीं बचा पाएंगे ।
सांसद संजय राऊत ने कहा कि बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार की राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (NDA) में वापसी से विपक्षी दलों के I. N. D. I. A. गठबंधन पर कोई असर नहीं पड़ेगा और दावा कर कहा कि कांग्रेस पार्टी नितीश कुमार को विपक्षी दलों के गठबंधन का संयोजक नियुक्त करने के पक्ष में थी।
भाजपा के लोकसभा चुनाव में 400 पार सीटें जीतने के दावे पर संजय राऊत ने कहा कि 400 पार है तो यह नीतीश कुमार को तोड़ो, शिवसेना को तोड़ो, राकांपा को तोड़ो, हेमंत सोरेन पर छापेमारी करो, केजरीवाल पर छापेमारी करो… ये नौटंकी क्यों चल रही है?… 400 सीटें क्या आप 200 सीटें भी पार नहीं कर पाएंगे, आप इस बार हारने जा रहे हो। आप 200 सीटें भी नहीं जीत पाओगे। आप हारने जा रहे हो। आपको भगवान राम भी नहीं बचा रहे हैं।
जेडीयू अध्यक्ष नीतीश कुमार ने रविवार को नाटकीय उलटफेर के बाद रेकॉर्ड नौवीं बार बिहार के मुख्यमंत्री के रूप में शपथ ली। उन्होंने महागठबंधन और विपक्षी दलों के ‘I. N. D. I. A.’ गठबंधन को छोड़कर भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के साथ राज्य में एक नई सरकार बनाई, जिससे वह 18 महीने से भी कम समय पहले अलग हुए थे। संजय राऊत ने कहा कि जिस तरह से नीतीश कुमार ने ‘I. N. D. I. A.’ गठबंधन को छोड़ा वह दुर्भाग्यपूर्ण है।
संजय राऊत ने कहा कि नीतीश कुमार का मतलब बिहार नहीं है। राऊत ने साथ ही सवाल किया कि क्या राज्य के लोगों को यह पसंद आएगा कि एक व्यक्ति एक ही कार्यकाल में कई बार मुख्यमंत्री के रूप में शपथ ले। उन्होंने कहा कि यह बिहार की पहचान खत्म करने की भाजपा की चाल है… नीतीश का मतलब बिहार नहीं है। महाराष्ट्र में भी उन्होंने मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे के साथ प्रयोग किया, लेकिन शिंदे का मतलब महाराष्ट्र नहीं, या उपमुख्यमंत्री अजित पवार का मतलब महाराष्ट्र नहीं है।