
मुख्यमंत्री के इशारे पर वर्सोवा – बांद्रा सी लिंक में महाराष्ट्र के भूमिपुत्रों के साथ अन्याय
राज्य सरकार पर फिर बरसे आदित्य ठाकरे, राज्य कि परियोजनाओं के लिए राज्य के बाहर इंटरव्यू
योगेश पाण्डेय – संवाददाता
मुंबई : शिवसेना नेता आदित्य ठाकरे ने एक बार फिर राज्य कि शिंदे-फडणवीस सरकार पर आरोप लगाते हुए कहा है कि लंबे समय से ठप पड़े वर्सोवा-बांद्रा सी लिंक के काम के लिए दूसरे राज्यों के मजदूरों को लाया जा रहा है। यह काम कई दिनों से बंद था, इस बारे में पूछे जाने पर MSRDC अस्पष्ट जवाब दे रहा था। इस रूट के पूरा होने के बाद मुंबईकरों पर एक नहीं बल्कि चार टोल लगाए जाएंगे। इस प्रोजेक्ट पर काम करने वाली ठेकेदार कंपनी बदल गई है। इस कंपनी ने वर्सोवा-बांद्रा सी लिंक के काम के लिए कुछ पदों पर भर्ती करने का फैसला किया है। इसके लिए सिविल इंजीनियरिंग में डिग्री की आवश्यकता होती है। हालांकि, इन पदों के लिए इंटरव्यू चेन्नई के रामाडा प्लाजा होटल में आयोजित किया जाता है। आदित्य ठाकरे ने यह बताने की कोशिश की है कि महाराष्ट्र में कहीं भी इन पदों के लिए कोई वॉक-इन इंटरव्यू नहीं है। वह बुधवार को मुंबई में आयोजित प्रेस वार्ता में बोल रहे थे।
यह महाराष्ट्र के युवाओं को आर्थिक रूप से पंगु बनाने और राज्य को आर्थिक रूप से अलग-थलग करने की चाल है। अगर इस प्रोजेक्ट का काम मुंबई में है तो भूमिपुत्रों को मौका क्यों नहीं दिया जा रहा है। ये सारी बातें मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे की सहमति से शुरू हो रही हैं। अगर ऐसा नहीं है तो इसका मतलब है कि मुख्यमंत्री इन सभी मामलों पर ध्यान नहीं दे रहे हैं। उम्मीदवारों का इंटरव्यू 25 सितंबर को चेन्नई में होना तय किया गया है, अब अगर महाराष्ट्र के बच्चे इन साक्षात्कारों के लिए जाना चाहते हैं, तो क्या राज्य सरकार उन्हें टिकट देगी, आदित्य ठाकरे से पूछा।
वेदांता-फॉक्सकॉन मामले को लेकर आदित्य ठाकरे ने एक बार फिर राज्य सरकार पर निशाना साधा है। मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे आज दिल्ली गए हैं। सार्वजनिक रूप से यह 8वीं बार और गुप्त रूप से 12वीं बार है कि वह दिल्ली गए हैं। मान लीजिए कि वे दिल्ली महाराष्ट्र की बेहतरी के लिए गए हैं। सरकार ने अभी तक आधिकारिक जवाब नहीं दिया है कि वेदांत-फॉक्सकॉन परियोजना गुजरात में क्यों गई। सिर्फ आरोप-प्रत्यारोप का दौर चल रहा है। इसको लेकर सवाल पूछे जाते हैं तो जांच की धमकी दी जाती है। रायगढ़ में थोक दवा परियोजना भी राज्य से बाहर जा रही है। आदित्य ठाकरे ने कहा कि इस परियोजना से राज्य में 70 से 80 हजार नौकरियां पैदा होतीं। हमारी पिछली प्रेस कॉन्फ्रेंस के बाद, खोके सरकार ने फिर से अपना ध्यान MIDC क्षेत्र की परियोजनाओं पर केंद्रित कर दिया है। इन परियोजनाओं के लिए भूखंडों का आवंटन निलंबित कर दिया गया था। आदित्य ठाकरे ने कहा कि राज्य सरकार अब इसे हटाने पर विचार कर रही है।